COVID महामारी भी जानवरों के प्रति हमारी टीम का हौंसला डगमगा न सकी

लोकडाउन के दौरान, आम लोगों के घरों से न निकलने के कारण उन पर निर्भर देसी कुत्तों, बिल्लियों और अन्य सामुदायिक जानवरों को भूख से मरने का खतरा था। ऐसे में PETA इंडिया के आग्रह पर, जीव-जन्तु कल्याण बोर्ड ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को जानवरों की देखभाल करने वालों को आवश्यक फ्रंटलाइन वर्कर के रूप में नामित करने और जानवरों को भोजन और चिकित्सकीय उपचार प्रदान करने के लिए धन आवंटित करने की सलाह दी।

 

अवैध कुर्बानी के खिलाफ़ पुलिस की कार्रवाई

सभी धर्म करुणा का आह्वान करते हैं और किसी भी धर्म में जानवरों को मारने की अनिवार्यतः नहीं है। इसलिए बकरी ईद से ठीक पहले, PETA से प्राप्त पत्र के बाद मणिपुर के राजयकीय पुलिस मुख्यालय ने सभी ज़िलों के पुलिस अधिकारियों को जानवरों के अवैध परिवहन और उनकी हत्या के खिलाफ़ सख़्त कदम उठाने हेतु निर्देशित किया। इस प्रकार के निर्देश के कारण कई बकरियों, भेड़ों और भैंसों को क्रूरतापूर्ण परिवहन के कारण होने वाली दर्दनाक मौतों से बचाया जा सकता है।

कुत्तों का शोषण करने वालों के खिलाफ शिकंजा कसा गया

इस वर्ष एक बेहद क्रूर घटना सामने आई जिसमें अलवर के चार लोगों ने एक कुत्ते के पैरों को आपस में बांध दिया और उन्हें कुल्हाड़ी से काट दिया, जिससे उसकी मौत हो गई। इस मामले में PETA इंडिया की कार्यवाही के बाद, अलवर पुलिस द्वारा मुख्य संदिग्ध और उसके साथी को गिरफ्तार कर लिया गया, और बाद में दो अन्य संदिग्धों को भी गिरफ्तार कर लिया गया। PETA इंडिया की कार्यवाही के बाद एक अन्य मामले में, पटियाला पुलिस द्वारा कुत्ते को गोली मारने के अपराध में एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया और हम लगातार ऐसे अपराधियों के लिए कठोर दंड प्रावधान और काउंसलिंग की मांग कर रहे हैं।

 

घुड़ दौड़ करने वालों को जेल भिजवाया

सोशल मीडिया पर एक वीडियो सामने आने के बाद जिसमें एक अवैध गाड़ी दौड़ के दौरान कुछ चालकों को घोड़ों को मारते और पीटते देखा गया, हमने दोषी व्यक्तियों को खोजने और यह सुनिश्चित करने के लिए गोराई पुलिस के साथ काम किया कि उन्हें गिरफ्तार किया जाए।

जानलेवा माँझे पर रोक

PETA इंडिया की एक टिप पर कार्रवाई करते हुए, दिल्ली पुलिस ने स्वतंत्रता दिवस से पहले बड़ी मात्रा में अवैध मंझा जब्त किया और अनगिनत पक्षियों एवं अन्य जानवरों को घायल होने या मारे जाने से बचाने के लिए इसे बेचने वाले अपराधियों के खिलाफ़ कदम उठाया।

मानवीय विज्ञान ने गिनी पिग को बचाया

PETA इंडिया द्वारा दिए गए सुझावों पर गौर करते हुए भारतीय मानक ब्यूरो की पशुपालन, चारा एवं उपकरण समिति ने रोगजनक तत्वों की पहचान करने हेतु “गिनी पिग” पर होने वाले क्रूर जानलेवा परीक्षणों को बदल दिया है। “पशु आहार और भरण सामग्री” हेतु नए मानक परीक्षण तरीकों में “माइक्रोबायोलॉजिकल तरीके” को अपनाने की मंजूरी प्रदान की गयी जिनसे कई गिनी पिग की जान बचाई जा सकती है।

 

अवैध बोर्डिंग सुविधा बोर्ड

ठाणे ग्रामीण पुलिस के साथ काम करते हुए, हमने तीन कुपोषित मादा कुत्तों को कल्याण की एक अवैध बोर्डिंग सुविधा से बचाया। यहाँ कुत्तों को तंग पिंजरों में और पर्याप्त भोजन से वंचित रखा गया था जिसके कारण उनके शरीर को पूरी तरह से टिकों ने ढक लिया था। इन कुत्तों को बाहर निकाल कर तत्कालिक पशु चिकित्साकीय देखभाल प्रदान की गयी और सुविधा के मालिक ने सख्त कानूनी कार्रवाई के डर से फिर कभी कुत्तों को न रखने की सहमति दी।

 

बचाए गए दरियाई घोड़े को एक नया जीवन मिला

एशियाड सर्कस के मालिक ने अपने प्रदर्शन का लाइसेंस खो दिया था, लेकिन उन जानवरों को छोड़ने से इनकार कर दिया, जिन्हें वह प्रदर्शन करने के लिए मजबूर कर रहा था। हमारी कानूनी टीम ने गंदे पानी से भरी कंक्रीट की एक होदी में रखे एक अकेले नर दरियाई घोड़े को बचाने के आदेश हेतु दिल्ली उच्च न्यायालय में याचिका दायर की। इसके परिणामस्वरूप इस जानवर को एक सुरक्षित स्थान पर स्थानांतरित कर दिया गया, यहाँ वह अपने नए साथियों के साथ आरामपूर्वक रह रहा है। अदालत ने सर्कस के मालिक के खिलाफ गैर-जमानती वारंट भी जारी किया क्योंकि वह दरियाई घोड़े की स्थिति और स्थान का खुलासा करने में विफल रहा था।

हाथियों को हाथी सवारी करवाने से राहत

PETA इंडिया के आग्रह के बाद, राजस्थान वन विभाग ने पुरातत्व और संग्रहालय विभाग को आमेर किले में सवारी करने के लिए मजबूर 20 चिकित्सकीय रूप से अनुपयुक्त हाथियों के उपयोग को रोकने का निर्देश दिया। इनमें वह हाथी शामिल हैं जो टीबी, कमज़ोर नज़र या पुरानी पैर की समस्याओं से पीड़ित थे, एवं बूढ़े और कुपोषित थे। हम पर्यटकों की सवारी के लिए इस्तेमाल होने वाले सभी हाथियों  को आज़ाद करने और इलेक्ट्रिक वाहनों से बदलने के लिए जोर देना जारी रखेंगे।

 

कर्नाटक ने क्रूर पिंजरों पर रोक लगाई

PETA इंडिया की अपील के परिणामस्वरूप, कर्नाटक जीव-जन्तु कल्याण बोर्ड ने सभी जिला उप निदेशकों को आदेश ज़ारी करके, सुअर पालन में गेसटेसन और तंग क्रूर पिंजरों के निर्माण, बिक्री और उपयोग पर रोक लगाने के निर्देश दिए। यह क्रूर उपकरण मादा सूअरों को पूरी तरह से जकड़ देते हैं और इनपर रोक लगने से इन संवेदनशील जानवरों को बड़ा लाभ होगा।

 

Lakmé ने पशु परीक्षण के खिलाफ़ कदम उठाया

देश का प्रमुख सौंदर्य प्रसाधन ब्रांड Lakmé PETA US के Global Beauty Without Bunnies programme का हिस्सा बना जो सौंदर्य प्रसाधनों और घरेलु सामान के ऐसे ब्रांडों को प्रमाणित करता है जो जानवरों पर परीक्षण नहीं करते हैं। अब इस ब्रांड पर भी “PETA approved” का लोगो लगेगा।

 

स्कूली बच्चों से लेकर दयालु नागरिकों का सफ़र

PETA इंडिया का “दयालु नागरिक” नामक मानवीय शिक्षा कार्यक्रम, स्कूली बच्चों को पशुओं के प्रति दयालुता दिखाने हेतु प्रोत्साहित करता है। इस कार्यक्रम को हाल ही में ऑनलाइन पढ़ाने के लिए नया रूप दिया गया है। यह कार्यक्रम देश भर के लगभग 9 करोड़ छात्रों तक पहुंच गया है और दिल्ली शिक्षा निदेशालय ने हाल ही में एक नया परिपत्र जारी कर हमें इसे दिल्ली के सरकारी स्कूलों में चलाने की अनुमति दी है।

 

 

PETA इंडिया ने प्रधानमंत्री श्री मोदी जी को आधुनिक सुझाव दिए!

PETA के सुझाव पर यूरोपीय संसद द्वारा पशु प्रयोगों को चरणबद्ध ढंग से समाप्त करने हेतु एक महत्वपूर्ण प्रस्ताव पारित होने के बाद, PETA इंडिया ने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी को अपना अनुसंधान आधुनिकीकरण सौदा प्रस्तुत किया। यह मनुष्यों के इलाज के लिए पशु प्रयोग की विफलता को रेखांकित करता है और आधुनिक एवं मानव-प्रासंगिक तरीकों पर ज़ोर देता है।

 

भारतीय जीव-जन्तु कल्याण बोर्ड ने भी माना, जानवरों का मनोरंजन हेतु प्रयोग गलत

तमिल फिल्म “पोन्नियिन सेलवन” के सेट पर एक घोड़े की मौत के बाद, PETA इंडिया ने भारतीय जीव-जन्तु कल्याण बोर्ड से अपील की, जिसके परिणामस्वरूप बोर्ड ने सभी टेलीविजन और फिल्म संघों और विज्ञापनदाताओं को जीवित जानवरों को प्रदर्शन करने के लिए मजबूर करने के बजाय आसानी से उपलब्ध कंप्यूटर-जनित इमेजरी और दृश्य प्रभावों के उपयोग को प्राथमिकता देने के लिए एक सलाह जारी करी।

कुत्तों का शोषण करने वाले कैफे को बंद कराया गया

जब हमें पता चला कि Puppy Cuddles Dog Café में, कुत्तों को कथित तौर पर पिंजरे में बंद किया जाता है, मारा-पीटा जाता है और भूखा रखा जाता है तो हमने महाराष्ट्र एनिमल वेलफेयर बोर्ड और मुंबई डिस्ट्रिक्ट सोसाइटी फॉर द प्रिवेंशन ऑफ क्रुएल्टी टू एनिमल्स के साथ मिलकर इसे बंद कराने में अपना योगदान दिया।

 

तोतों को मिली आज़ादी

PETA इंडिया द्वारा दर्ज़ कराई गयी एक शिकायत पर कार्रवाई करते हुए, पश्चिम बंगाल वन विभाग ने चार तोते जब्त किए, जिन्हें वन्यजीव संरक्षण अधिनियम का उल्लंघन करते हुए दो घरों में बंद रखा गया था। पक्षियों को पुनर्वास के लिए वन विभाग के बचाव केंद्र में ले जाया गया और अधिकारियों ने इन पक्षियों को बंदी बनाने वालो के खिलाफ एक रिपोर्ट दर्ज की। हमने लखनऊ पुलिस और वन विभाग को एक बाजार में अवैध रूप से कैद 11 और तोतों की सूचना दी। अधिकारियों ने इन पक्षियों को एक छोटे से प्लास्टिक बैग में हवा के लिए तड़पते पाया। वन विभाग द्वारा इन पक्षियों को पशु चिकित्सकीय देखभाल और फिर से आसमान में आज़ाद करने के लिए ले जाया गया।

ये वर्ष 2021 की हमारी कुछ उपलब्धियां हैं, जिसमें 2,500 से अधिक क्रूरता के मामलों में पुलिस की सहायता करना और मदद के लिए 90,000 से अधिक कॉल का जवाब देना भी शामिल है।

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