PETA के सहयोगियों ने ‘विश्व युवा कौशल दिवस’ से पहले पशु संरक्षणकारी सुझाव देने वाले छात्रों को पुरस्कृत करने की घोषणा की

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14 July 2021

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PETA US की ‘Future Without Speciesism’ प्रतियोगिता के अंतर्गत छात्रों के पास 7 लाख से अधिक की धनराशि जीतने का मौका है

मुंबई – PETA इंडिया के सहयोगी PETA अमेरिका ‘पशु कल्याणकारी और नवाचारी आविष्कारों’ को बढ़ावा दे रहे हैं ठीक वैसे ही जैसे ईंधन गाड़ियों ने घोड़ागाड़ियों और फोन ने डाक देने वाले कबूतरों की जगह ली और वर्तमान में, मशरूम से बनाया गया चमड़ा गाय के चमड़े का लोकप्रिय विकल्प बन रहा है। संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित “विश्व युवा कौशल दिवस” (15 जुलाई) के अवसर पर भारत में PETA US द्वारा संचालित Future Without Speciesism Award नामक प्रतियोगिता की घोषणा की गई है और विजेता को US$10,000 (लगभग 7,48,100) की बड़ी धनराशि से पुरस्कृत किया जाएगा।

इस प्रतियोगिता के अंतर्गत आवेदकों को ऐसे कारणों की पहचान करनी है जिनके चलते आज भी जानवरों का शोषण किया जाता है और इनका एक विपणन योग्य पशु-मुक्त विकल्प भी प्रस्तुत करना है। इससे पहले PETA US ने छात्रों को “ऑर्गन-ऑन-ए-चिप” बनाने के लिए सम्मानित किया था, जिसके कारण अनगिनत जानवरों पर होने वाले गहन शोषण और उनकी हत्या को रोका गया था।

PETA इंडिया की एसोसिएट डायरेक्टर ऑफ एजुकेशन एंड यूथ आउटरीच पूजा महाजन ने कहा, “हम उन सभी छात्रों को इस प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए आमंत्रित करते हैं जिनके पास किसी पशु शोषणकारी प्रथा या उद्योग का विकल्प उपलब्ध है। हमारे सहयोगी युवा वर्ग के ऐसे विचारों को प्रोत्साहित करते आए हैं और आगे भी करते रहेंगे जो पशु अधिकारों का संरक्षण करते हैं और जानवरों को मात्र भोजन बनने से रोकते हैं।“

यह पुरस्कार PETA सहयोगियों को स्वामित्व का अधिकार नहीं देता है या आवेदकों को उनके आविष्कारों को पेटेंट कराने से नहीं रोकता है। सभी छात्र इस प्रतियोगिता में टीमों में या व्यक्तिगत रूप से भाग ले सकते हैं।

इस पुरस्कार की इनामी राशि US$1,000 से US$10,000 (लगभग 74,810 रुपये से लेकर 7,48,100 रुपये के बीच है) और PETA US द्वारा विजेताओं का चुनाव आविष्कारों की व्यावहारिकता और भविष्यगत संभावनाओं के आधार पर किया जाएगा।

PETA इंडिया जो इस सिद्धांत में विश्वास रखता है कि “जानवर किसी भी तरह से हमारा दुर्व्यवहार सहने के लिए नहीं है”, प्रजातिवाद का विरोध करता है। प्रजातिवाद एक ऐसी विचारधार है जिसमे इंसान स्वयं को इस दुनिया में सर्वोपरि मानकर अपने फायदे के लिए अन्य प्रजातियों का शोषण करना अपना अधिकार समझता है। अधिक जानकारी के लिए कृपया हमारी वेबसाईट  PETAIndia.com पर जाएँ।

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